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20/06/2022
116 बच्चों का किया गया हीमोग्लोबिन टेस्ट
लोगों को किया जा रहा है रक्तदान के बारे में जागरूक, ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग रक्तदान करे
घूमारवीं:-
घुमारवीं के बरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला मल्यावर में विश्व रक्तदान दिवस स्कूल के प्रिंसिपल सुमन चड्डा की अध्यक्षता में मनाया गया। खंड स्वास्थ्य शिक्षक सुरेश चन्देल ने रक्तदान पर विस्तार से बताया कि 14 जून से 28 जून तक रक्तदान जागरूकता पखवाड़ा मनाया जा रहा है । इसमें लोगों को रक्तदान के बारे में जागरूक किया जा रहा है, ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग रक्तदान करे ।
चन्देल ने बताया कि विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा 14 जून को विश्व रक्तदान दिवस के रूप में घोषित किया गया है । उन्होंने कहा कि इस दिवस का उद्देश्य सुरक्षित रक्त उत्पादों की आवश्यकता के बारे में जागरूकता बढ़ाना और रक्तदाताओं के सुरक्षित जीवन रक्षक रक्त के दान करने के लिए उन्हें प्रोत्साहित करना है।
रक्तदान से बचाई जा सकती है कई लोगों की ज़िन्दगी
चन्देल ने बताया कि रक्तदान से आप कई लोगों की ज़िन्दगी बचा सकते है। जैसे खून की कमी से गर्भावस्था व प्रसव के दौरान होने वाली मृत्यु को, दुर्घटना के समय अधिक खून बह जाने से होने वाली मौत, दूसरी सर्जिकल कंडीशन से होने वाली मौत, गंभीर रक्त अल्पता, कुपोषित बच्चे, थैलासीमिया, गुर्दे की विफलता व दूसरी कैंसर जैसी घातक बीमारियों के दौरान होने वाली जटिलताओं से निपटने के लिए रक्त चढ़ाकर बचाया जा सकता है।
रक्तदान है महादान
चन्देल ने कहा कि रक्तदान महादान है इससे बड़ा दान कोई नही क्योंकि रक्तदान करके आप किसी की भी जिन्दगी बचा सकते है । उन्होंने कहा कि रक्तदाता को रक्तदान के बाद कुछ घंटों के बाद फिर से रक्त तैयार हो जाता है । रक्त का दान करने के बाद रक्तदाता का रक्त 24 से 48 घंटे के बीच पूरा बन जाता है । उन्होंने कहा कि एक स्वस्थ व्यक्ति को ही रक्तदान करना चाहिए । रक्तदान करने से पहले व्यक्ति को दो गिलास पानी पीकर और पेट भर कर खाना खाकर ही रक्त का दान करना चाहिए । उन्होंने बताया कि कोई भी व्यक्ति 18 से 60 वर्ष की आयु तक रक्त दान कर सकता हैं। पुरुष 3 महीने और महिलाएं 4 महीने के अंतराल में नियमित रक्त दान कर सकती हैं।अगर कभी रक्त दान के बाद आपको चक्कर आना, पसीना आना, वजन कम होना या किसी भी अन्य प्रकार की समस्या लंबे समय तक बनी हुई हो तो आप रक्त दान ना करें।
जरूर करें रक्तदाता
चन्देल ने बताया कि अगर जनसंख्या का 1% भाग भी रक्त का दान करें तो भी लगभग सभी जिंदगियों को बचा सकते हैं । इसलिए स्वस्थ व्यक्ति को रक्तदाता जरूर बनना चाहिए। रक्तदान कभी भी आप ब्लड बैंक में जाकर के कर सकते हैं। चन्देल ने कहा कि रक्त देने से हम हार्ट टैक के खतरे को भी कम कर सकते है। रक्तदान का महत्व पर भाषण प्रतियोगिता कराई गई। इस प्रतियोगिता में बच्चों ने भाग लिया जिसमें स्नेह लता ने प्रथम स्थान, तानिया ने दूसरा व प्रियंका कुमारी ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। सभी प्रतिभागियों को प्रोत्साहन के तौर पर रजिस्टर और नोटबुक दी गई ।
116 बच्चों का हीमोग्लोबिन टेस्ट
इस दिवस पर स्कूल के 116 बच्चों का हीमोग्लोबिन टेस्ट भी किया गया। जिसमें से 2 बच्चों का हीमोग्लोबिन नार्मल मात्रा से कम पाया गया। इस अवसर पर डॉ महिमा शर्मा, डॉ रितिक शर्मा, महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता सुमन कुमारी, लैब टेक्नीशियन आशीष कुमार, फार्मासिस्ट कुसम कुमारी, आशा कार्यकर्ता जगतम्बा देवी, रमा देवी, स्कूल आध्यपक रूप सिंह, लेख राज, रमेश चंद, होशियार सिंह, राम पाल, सुरजीत सिंह, नंद लाल, संजीव कुमार, यश पाल, अनिल कुमार, रमेश कुमार, राजेन्द्र कुमार,रेखा देवी, शशी बाला, संजय कुमार, राज कुमार और 123 स्कूल के बच्चे उपस्थित थे।
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