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21/03/2022
हिमाचल वन विभाग ने की अनूठी पहल
हरियाली बढ़ाने के लिए प्रदेश में 100 स्थानों में बनाए जाएंगे
80 लाख से एक करोड़ तक पौधे रोपे जाते हैं हर वर्ष
शिमला:-
हिमाचल में वन विभाग ने अनूठी पहल की है जिसके तहत हरे भरे पेड़ों में वृद्धि होगी। जिसमे जल भंडार के जरिये हरियाली बढ़ाने के लिए प्रदेश में 100 स्थानों में छोटे बांध बनाए जाएंगे जिनमें बारिश नालों व अन्य प्राकृतिक स्रोतों का पानी एकत्रित किया जाएगा।
हिमाचल में हरे भरे पेड़ भरेंगे धरती मां का आंचल
प्रदेश हिमाचल में हरे भरे पेड़ धरती मां का आंचल भरेंगे। प्रदेश में जल भंडार के जरिये हरियाली बढ़ाने के लिए वन विभाग ने अनूठी पहल की है। प्रदेश में 100 स्थानों में छोटे बांध बनाए जाएंगे जिनमें बारिश, नालों व अन्य प्राकृतिक स्रोतों का पानी एकत्रित किया जाएगा ताकि भूजल में वृद्धि हो सके।
करीब 13 वर्षों में पहाड़ की धारों यानी ऊंचाई वाले क्षेत्रों में वन सरोवरों का निर्माण हुआ था मगर बाद में इस योजना को सरकारी तंत्र की कुव्यवस्था का घुन लग गया। धरती मां की कोख पानी के बिना सूनी न रह जाए, इसलिए जल संग्रहण किया जाएगा।
उच्च घनत्व वाले वनों में हुई है वृद्धि हुई
हिमाचल के उच्च घनत्व वाले वनों में वृद्धि हुई है। वर्ष 2019 के मुकाबले 2021 में वन क्षेत्र में 50 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि दर्ज की गई। खुले वनों में 15 व मध्यम घनत्व वाले वनों में 26 वर्ग किलोमीटर की कमी आई है।
हर वर्ष होता है पौधारोपण
हिमाचल में हरियाली को बढ़ाने के लिए हर वर्ष वन विभाग के जरिये 80 लाख से एक करोड़ तक पौधे रोपे जाते हैं। वन विभाग का दावा है कि पौधारोपण कार्यक्रम में जनता की व्यापक भागीदारी सुनिश्चित की जाती है। यही कारण है कि पिछले वर्ष रोपे गए पौधों के जीवित रहने की दर करीब 89 प्रतिशत तक आंकी गई है।
भूजल में भी होगा सुधार
अजय श्रीवास्त्व पीसीसीएफ ने कहा कि वन क्षेत्र में पानी एकत्रित होने से कई लाभ होंगे। छोटे बांध बनने से वन्य प्राणियों की पानी की जरूरत पूरी होने के अलावा भूजल में भी सुधार होगा।
वनों का बढ़ा है हरित आवरण
डा. सविता, सेवानिवृत्त पीसीसीएफ का कहना है कि प्रदेश में वन संपदा बढ़ाने के लिए सरकार और विभाग ने कई प्रयास किए हैं। वनों का हरित आवरण बढ़ा है। हमने कोरोना काल भी देखा जब हरियाली यौवन पर लौटी थी। वन संपदा में और निखार आया था।
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